गुरुवार, 25 अप्रैल 2024

500 + Best दर्द भरी शायरी हिंदी में | Dard Bhari Shayari in Hindi

Dard Bhari Shayari in Hindi: Friends, Sometimes such a moment definitely comes in the life of all of us when we are going through very sad times. Sometimes the sorrow of separation from someone, sometimes the sorrow of losing something, sometimes the sorrow of remembering someone, we are always facing one or the other sorrow. Feel the depth of the words from the heart. 


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Dard Bhari Shayari in Hindi
Dard Bhari Shayari in Hindi

Dard Bhari Shayari in Hindi 

ये सच है कि हम मोहब्बत से डरते हैं क्यूँ कि ये प्यार दिल को बहुत तड़पाता है

आँख में आँसू तो हम छुपा सकते हैं दर्द ए दिल दुनिया को पता चल जाता है

 

हर एक हसीन चेहरे में गुमान उसका था

बसा न कोई दिल में ये मकान उसका था

तमाम दर्द मिट गए मेरे दिल से लेकिन

जो न मिट सका वो एक नाम उसका था

 

कोई समझता नहीं मुझे इसका ग़म नहीं करता

पर तेरे नजरंदाज करने पर मुस्कुरा देता हूँ

मेरी हँसी में छुपे दर्द को महसूस कर के देख

मैं तो हँस के यूँ ही खुद को सजा देता हूँ


हँसते हुए ज़ख्मों को भुलाने लगे हैं हम

हर दर्द के निशान मिटाने लगे हैं हम

अब और कोई ज़ुल्म सताएगा क्या भला

ज़ुल्मों सितम को अब तो सताने लगे हैं हम


रोने की सजा है न रुलाने की सजा है ये दर्द मोहब्बत को निभाने की सजा है

हँसती हुई आँखों में आ जाते हैं आँसू ये उस शख्स से दिल लगाने की सजा है


खून बन कर मुनासिब नहीं दिल बहे

दिल नहीं मानता कौन दिल से कहे

तेरी दुनिया में आये बहुत दिन रहे

सुख ये पाया कि हमने बहुत दर्द सहे


दिया दिए से जला लूँ तो सुकून आये मुझे

तुम्हें गले से लगा लूँ तो चैन आये मुझे

मोहब्बतों के सहीफ़े हैं या अज़ाब कोई

तेरे खतों को जला लूँ तो चैन आये मुझे


जो नजर से गुजर जाया करते हैं वो सितारे अक्सर टूट जाया करते हैं

कुछ लोग दर्द को बयां नहीं होने देते बस चुपचाप बिखर जाया करते हैं


आज तेरी याद हम सीने से लगा कर रोये

तन्हाई मैं तुझे हम पास बुला कर रोये

कई बार पुकारा इस दिल ने तुम्हें

और हर बार तुम्हें ना पाकर हम रोये


वो सिलसिले वो शौक वो ग़ुरबत न रही फिर यूँ हुआ के दर्द में शिद्दत न रही

अपनी ज़िन्दगी में हो गए मसरूफ वो इतना कि हम को याद करने की फुर्सत न रही


खून बन कर मुनासिब नहीं दिल बहे दिल नहीं मानता कौन दिल से कहे

तेरी दुनिया में आये बहुत दिन रहे सुख ये पाया कि हमने बहुत दुःख सहे

Best दर्द भरी शायरी हिंदी में

मुझको तो दर्द ए दिल का मज़ा याद आ गया

तुम क्यों हुए उदास तुम्हें क्या याद आ गया

कहने को ज़िन्दगी थी बहुत मुख्तसर मगर

कुछ यूँ बसर हुई कि खुदा याद आ गया


ख़ामोशी को इख़्तियार कर लेना अपने दिल को थोड़ा बेक़रार कर लेना

ज़िन्दगी का असली दर्द लेना हो तो बस किसी से बेपनाह प्यार कर लेना


मेरा ख़याल ज़ेहन से मिटा भी न सकोगे

एक बार जो तुम मेरे गम से मिलोगे

तो सारी उम्र मुस्करा न सकोगे


कागज़ पे हमने भी ज़िन्दगी लिख दी

अश्क से सींच कर उनकी खुशी लिख दी

दर्द जब हमने उबारा लफ्जों पे

लोगों ने कहा वाह क्या ग़ज़ल लिख दी 


तेरी आरज़ू मेरा ख्वाब है

जिसका रास्ता बहुत खराब है

मेरे ज़ख्म का अंदाज़ा न लगा

दिल का हर पन्ना दर्द की किताब है


कैसे बयान करें आलम दिल की बेबसी का

वो क्या समझे दर्द आँखों की इस नमी का

उनके चाहने वाले इतने हो गए हैं अब

उन्हें कोई एहसास ही नहीं हमारी कमी का


वो नाराज़ हैं हमसे कि हम कुछ लिखते नहीं

कहाँ से लाएं लफ्ज़ जब हमको मिलते नहीं

दर्द की ज़ुबान होती तो बता देते शायद

वो ज़ख्म कैसे दिखाए जो दिखते नहीं


दिल के टूटने से नही होती है आवाज़

आंसू के बहने का नही होता है अंदाज़

गम का कभी भी हो सकता है आगाज़ 

और दर्द के होने का तो बस होता है एहसास


अब ये भी नहीं ठीक कि हर दर्द मिटा दें

कुछ दर्द तो कलेजे से लगाने के लिए हैं

यह इल्म का सौदा ये रिसाले ये किताबें

एक शख्स की यादों को भुलाने के लिए है


ना तस्वीर है तुम्हारी जो दीदार किया जाये

ना तुम हो मेरे पास जो प्यार किया जाये

ये कौन सा दर्द दिया है तुमने ऐ सनम

ना कुछ कहा जाये ना तुम बिन रहा जाये


हम उम्मीदों की दुनियां बसाते रहे वो भी पल पल हमें आजमाते रहे

जब मोहब्बत में मरने का वक्त आया हम मर गए और वो मुस्कुराते रहे


समझ में कुछ नहीं आता मोहब्बत किस को कहते हैं

मगर इतना समझता हूँ कि कहीं पर दर्द उठता है


जब फुरसत मिले चाँद से मेरे दर्द की कहानी पूछ लेना

सिर्फ एक वो ही है मेरा हमराज तेरे जाने के बाद


लिखूं कुछ आज यह वक़्त का तकाजा है

मेरे दिल का दर्द अभी ताजा ताजा है

गिर पड़ते हैं मेरे आंसू मेरे ही कागज पर

लगता है कि कलम में स्याही का दर्द ज्यादा है

 Dard E Dil Shayari in Hindi

कहाँ कोई मिला ऐसा जिस पर दिल लुटा देते

हर एक ने धोखा दिया किस किस को भुला देते

अपने दर्द को अपने दिल ही में दबाये रखा

अगर बयां करते तो महफिलों को रुला देते


मुझे क़बूल है हर दर्द हर तकलीफ़ तेरी चाहत में

सिर्फ़ इतना बता दे क्या तुझे मेरी मोहब्बत क़बूल है


ज़रा सी ज़िंदगी है अरमान बहुत हैं

हमदर्द नहीं कोई इंसान बहुत हैं

दिल के दर्द सुनाएं तो किसको

जो दिल के करीब है वो अनजान बहुत है


दिल मेरा जो अगर रोया न होता

हमने भी आँखों को भिगोया न होता

दो पल की हँसी में छुपा लेता ग़मों को

ख़्वाब की हक़ीक़त को जो संजोया नहीं होता


रोने की सज़ा न रुलाने की सज़ा है

ये दर्द मोहब्बत को निभाने की सज़ा है

हँसते हैं तो आँखों से निकल आते हैं आँसू

ये उस शख्स से दिल लगाने की सज़ा है


गुजरता वक़्त हमें एहसास दिला देता है

जिसे चाहते हैं हम वो ही दिल दुखा देता है

वक़्त मरहम लगा देता है जिन ज़ख्मो पर

कोई अपना उस दर्द को फिर से जगा देता है


बेनाम सा यह दर्द ठहर क्यों नहीं जाता

जो बीत गया है वो गुजर क्यों नहीं जाता

वो एक ही चेहरा तो नहीं सारे जहाँ में

जो दूर है वो दिल से उतर क्यों नहीं जाता


हर दर्द को दफ़न कर गहराई में कहीं दो पल के लिए सब कुछ भुलाया जाए

रोने के लिए घर में कोने बहुत से हैं आज महफ़िल में चलो सबको हँसाया जाए


अनजाने में यूँ ही हम दिल गँवा बैठे

इस प्यार में कैसे धोखा खा बैठे

उनसे क्या गिला करें भूल तो हमारी थी

जो बिना दिल वालों से ही दिल लगा बैठे


वो रात दर्द और सितम की रात होगी 

जिस रात रुखसत उनकी बारात होगी 

उठ जाता हूँ मैं ये सोचकर नींद से अक्सर 

कि एक गैर की बाहों में मेरी सारी कायनात होगी


हादसे इंसान के संग मसखरी करने लगे

लफ्ज कागज पर उतर जादूगरी करने लगे

कामयाबी जिसने पाई उनके घर बस गए

जिनके दिल टूटे वो आशिक शायरी करने लगे


ख्याल में आता है जब भी उनका चेहरा

तो लबों पे अक्सर एक फरियाद आती है

भूल जाते हैं सारे दर्द-ओ-सितम उनके

जब उनकी थोड़ी सी मोहब्बत याद आती है


न जाने उस पर इतना यकीन क्यूँ है

उसका ख्याल भी इतना हसीं क्यूँ है

सुना है प्यार का दर्द मीठा होता है

तो आँख से निकला आँसू नमकीन क्यूँ है


मुझको ऐसा दर्द मिला जिसकी दवा नहीं फिर भी खुश हूँ मुझे उससे कोई गिला नहीं

और कितने आँसू बहाऊँ मैं उसके लिए जिसको खुदा ने मेरे नसीब में लिखा नहीं

किसी की याद में दर्द भरी शायरी

दिल के दर्द छुपाना बड़ा मुश्किल है 

टूट कर फिर मुस्कुराना बड़ा मुश्किल है

किसी अपने के साथ दूर तक जाओ फिर देखो

अकेले लौट कर आना कितना मुश्किल है


दर्द दे गए सितम भी दे गए ज़ख़्म के साथ वो मरहम भी दे गए

दो लफ़्ज़ों से कर गए अपना मन हल्का और हमें कभी ना रोने की कसम दे गए


तेरी आरज़ू मेरा ख्वाब है जिसका रास्ता बहुत खराब है

मेरे ज़ख्म का अंदाज़ा न लगा दिल का हर पन्ना दर्द की किताब है

 

ये मत समझ कि तेरी याद से रिश्ता नहीं रखा

मैं खुद तन्हा रहा मगर दिल को तन्हा नहीं रखा

तुम्हारी चाहतों के फूल तो महफूज़ रखे हैं

तुम्हारी नफरतों की पीर को ज़िंदा नहीं रखा


दर्द है दिल में पर इसका एहसास नहीं होता

रोता है दिल जब वो पास नहीं होता

बर्बाद हो गए हम उसके प्यार में

और वो कहते हैं इस तरह प्यार नहीं होता


कांटो सी चुभती है तन्हाई अंगारों सी सुलगती है तन्हाई 

कोई आ कर हम दोनों को ज़रा हँसा दे मैं रोता हूँ तो रोने लगती है तन्हाई


वक्त नूर को बेनूर कर देता है 

छोटे से जख्म को नासूर कर देता है 

कौन चाहता है अपनों से दूर होना 

लेकिन वक्त सबको मजबूर कर देता है


एक लफ्ज़ उनको सुनाने के लिए 

कितने अल्फ़ाज़ लिखे हमने ज़माने के लिए

उनका मिलना ही मुक़द्दर में न था

वर्ना क्या कुछ नहीं किया उनको पाने के लिए


कहाँ कोई ऐसा मिला जिस पर हम दुनिया लुटा देते

हर एक ने धोखा दिया किस किस को भुला देते 

अपने दिल का ज़ख्म दिल में ही दबाये रखा

बयां करते तो महफ़िल को रुला देते


दर्द कितना है बता नहीं सकते ज़ख़्म कितने हैं दिखा नहीं सकते 

आँखों से समझ सको तो समझ लो आँसू गिरे हैं कितने गिना नहीं सकते


कहाँ कोई ऐसा मिला जिस पर हम दुनिया लुटा देते 

हर एक ने धोखा दिया किस-किस को भुला देते

अपने दिल का ज़ख्म दिल में ही दबाये रखा

बयां करते तो महफ़िल को रुला देते

Dard Shayari in Hindi Images 

आज फिर तेरी याद आयी बारिश को देख कर

दिल पे ज़ोर न रहा अपनी बेबसी को देख कर 

रोये इस कदर तेरी याद में

कि बारिश भी थम गयी मेरी बारिश को देख कर


वो करीब ही न आये तो इज़हार क्या करते 

खुद बने निशाना तो शिकार क्या करते

मर गए पर खुली रखी आँखें

इससे ज्यादा किसी का इंतजार क्या करते


मेरे दिल का दर्द किसने देखा है 

मुझे बस खुदा ने तड़पते देखा है

हम तन्हाई में बैठे रोते हैं 

लोगों ने हमें महफ़िल में हँसते देखा है


हर सितम सह कर कितने ग़म छिपाये हमने

तेरी खातिर हर दिन आँसू बहाये हमने

तू छोड़ गया जहाँ हमें राहों में अकेला 

बस तेरे दिए ज़ख्म हर एक से छिपाए हमने


हर वक़्त तेरे आने की आस रहती है हर पल तुझसे मिलने की प्यास रहती है

सब कुछ है यहाँ बस तू नही इसलिए शायद ये जिंदगी उदास रहती है


कैसे बयान करें आलम दिल की बेबसी का

वो क्या समझे दर्द आंखों की इस नमी का

उनके चाहने वाले इतने हो गए हैं अब कि

उन्हे अब एहसास ही नहीं हमारी कमी का


जो मेरा था वो मेरा हो नहीं पाया

आँखों में आंसू भरे थे पर मैं रो नहीं पाया

एक दिन उन्होंने मुझसे कहा कि

हम मिलेंगे ख़्वाबों में पर मेरी बदकिस्मती तो देखिये

उस रात तो मैं ख़ुशी के मारे सो भी नहीं पाया


ज़ख्म जब मेरे सीने के भर जाएंगे

आंसू भी मोती बन के बिखर जाएंगे

ये मत पूछना किसने दर्द दिया

वरना कुछ अपनों के सर झुक जाएंगे


हर ख़ुशी के पहलू हाथों से छूट गए 

अब तो खुद के साये भी हमसे रूठ गए

हालात हैं अब ऐसे ज़िंदगी में हमारी

प्यार की राहों में हम खुद ही टूट गए


जहाँ खामोश फिजा थी, साया भी न था

हमसा कोई किसी जुर्म में आया भी न था 

न जाने क्यों छिनी गई हमसे हंसी

हमने तो किसी का दिल दुखाया भी न था


इस दिल की दास्ताँ भी बड़ी अजीब होती है

बड़ी मुस्किल से इसे ख़ुशी नसीब होती है 

किसी के पास आने पर ख़ुश हो न हो

पर दूर जाने पर बड़ी तकलीफ होती है


एक अजीब सा मंजर नज़र आता है हर एक आँसूं समंदर नज़र आता है

कहाँ रखूं मैं शीशे सा दिल अपना हर किसी के हाथ मैं पत्थर नज़र आता है


जिंदगी भर दर्द से जीते रहे

दरिया पास था आंसुओं को पीते रहे 

कई बार सोचा कह दू हाल ए दिल उससे

पर न जाने क्यूँ हम होंठो को सीते रहे


हर बात में आंसू बहाया नहीं करते

दिल की बात हर किसी को बताया नहीं करते

लोग मुट्ठी में नमक लेके घूमते है

दिल के जख्म हर किसी को दिखाया नहीं करते

छोड़कर जाने वाली दर्द भरी शायरी

वो तो अपने दर्द रो रो कर सुनाते रहे हमारी तन्हाईयों से आँखें चुराते रहे

और हमें बेवफ़ा का नाम मिला क्योंकि हम हर दर्द मुस्कुरा कर छिपाते रहे


बिन बताये उसने ना जाने क्यों ये दूरी कर दी

बिछड़ के उसने मोहब्बत ही अधूरी कर दी

मेरे मुकद्दर में ग़म आये तो क्या हुआ

खुदा ने उसकी ख्वाहिश तो पूरी कर दी


ग़म इसका नहीं कि तू मेरा न हो सका

मेरी मोहब्बत में मेरा सहारा ना बन सका

ग़म तो इसका भी नहीं कि सुकून दिल का लुट गया 

ग़म तो इसका है कि मोहब्बत से भरोसा ही उठ गया


दुनिया में किसी से कभी प्यार मत करना

अपने अनमोल आँसू इस तरह बेकार मत करना

कांटे तो फिर भी दामन थाम लेते हैं

फूलों पर कभी इस तरह तुम ऐतबार मत करना


बहुत अजीब हैं ये बंदिशें मोहब्बत की

कोई किसी को टूट कर चाहता है 

और कोई किसी को चाह कर टूट जाता है


न वो सपना देखो जो टूट जाये

न वो हाथ थामो जो छूट जाये

मत आने दो किसी को करीब इतना 

कि उसके दूर जाने से इंसान खुद से रूठ जाये


कश्ती का डूब जाना ही अच्छा था किनारे ने और बदनाम कर दिया

पुरानी गलतियां भूलने की कोशिश थी नए इश्क़ ने और बर्बाद कर दिया


देर भी होती है बैठना भी नहीं है याद भी रखना है तुझे सोचना भी नहीं है

हम तो तेरी मोहब्बत से हारे हैं हार कर लौटना भी नहीं है

जाने भी नहीं देना तुझको तुझे रोकना भी नहीं है


क्यों मिलाया उससे जिसका हो नहीं सकता

जिसका हूँ उसका मुझे होना नहीं था

ऐ खुदा तूने ये कैसा मेल मिलाया

जो है मेरा मेरा होना नहीं था


कोई उसे ठंडी हवा कहता है

कोई उसकी पायल पे मरता है

उसे सब सबसे बेहतर मानते हैं

चाँद भी उसे सलाम करता है


कौन अब तेरे साथ रहेगा

तूने अच्छे अच्छे मुहाफ़िज़ छोड़े हैं

तूने जीते जागते दिल तोड़े जाना

हमने टूटे हुए शीशे भी जोड़े हैं

 Dard Bhari Love Shayari in Hindi 

खिले खिले नज़र आ रहे हो तुम्हें इंतज़ार पूरा हो गया क्या

इतनी बेरुखी से बात कर रहे हो तुम्हें दूसरा प्यार हो गया क्या


अलफ़ाज़ कहें तो क्या जज़्बात कहें तो क्या

जो तुम समझ ना पाओगे हालात  कहें तो क्या


रात का मैं मुसाफिर हूँ मुझे तेरी रौशनी देदे

मुझको बना ले तू अपना या मुझको अलविदा कह दे


संभल कर रहना तू ऐ दिल यहाँ ज़हर बहुत है

कोई अपना नहीं दिखता यहाँ गैर बहुत है


बोल तेरे दिल में क्या है क्या है तेरी रज़ा बता

मैंने बस तुझे दिल से चाहा है ना क्या है मोहब्बत की सज़ा बता


कंगन के निशान गए नहीं अभी

हाथों से जिन्हें छुपा रही हो

मेरे बिना तो एक पल गवारा न था

आज अकेले किधर जा रही हो


कौन तेरे झूठ को भी सच मानेगा

कौन तेरी बातों में खो जायेगा

कौन तुझे यूँ चाहेगा बोल

कौन तेरा बस यूँ हो जायेगा


खाली मैं अंदर से टूटा हुआ क़िस्मत से और खुद से रूठ हुआ

रूहानी ज़ख्म हैं दिखते नहीं मैं यादों से ज़ख्मों को सीता हुआ


किसी को दिल से चाहा ये गुनाह था

मोहब्बत तबाह करती है ये सुना था

छोड़ कर जाना आज कल रिवाज़ है

या मैंने ही शख़्स ग़लत चुना था


वफ़ा के नाम पर तुमने मुझे धोखे परोसे थे

कसम भी खायी थी झूठी बड़े कच्चे भरोसे थे


कैसे मानूं उसे इश्क़ है मुझसे

खुश देखा है मैंने उसे मुझसे जुदा होकर

बहुत मुश्किल होता है खुदको समेटना

देखना तुम भी कभी खुद में तबाह होकर


जहाँ खुशबुओं की भी शकल होगी

जहाँ पत्थरों में भी नूर होगा

जहाँ वो खुदा भी दिखाई देगा

जहाँ से ज़माना भी दूर होगा

हम मिलेंगे कभी उस जहान में जहाँ

मेरी रूह होगी तेरा जिस्म होगा


मौत आएगी जान जाएगी

मगर तेरा आना नहीं होगा

ये मोहब्बत तुम्हारा काम नहीं

तुमसे ये इश्क़ निभाना नहीं होगा


सादगी पर हम उनकी फ़िदा हुए थे

और उन्हें हमारी शायरी अच्छी लगती थी

नाम उन्होंने कभी लिया नहीं हमारा

हमें उनकी ये अदा भी अच्छी लगती थी

रिश्तों की दर्द भरी शायरी

मत सताओ मुझे तुम ज़माने की तरह

मुझे बस तुम्हारा सहारा चाहिए

ये दिल मेरा एक डूबती कश्ती है

इस कश्ती को तुम्हारा किनारा चाहिए


दर्द ज़ख्म सुकून नहीं है मेरी तरह इश्क़ का जूनून नहीं है

मोहब्बत बहती है रगों में मेरी रगों में मेरी ख़ून नहीं


कुछ अपनों के सताए हुए भी लोग हैं

आंसू कर किसी के झूठे नहीं होते

मतलब निकलने पर सब बदल ही जाते हैं

अपने भी आज कल अपने नहीं होते


तुझे मेरे प्यार पर शक क्यों है

सिर्फ तुझे दिल तोड़ने का हक़ क्यों है

तूने मुझे अपना कहा समझा नहीं मगर

तेरे मेरे प्यार में फ़र्क़ क्यों है


चेहरे पे हिजाब आँखों में शर्म

तेरे हर किरदार की बात और हैं

मुझे देखे तू मेरा ऐसा नसीब कहाँ

सुना है तेरे चाहने वाले और हैं


जहाँ मैं कहता हूँ ये उधर नहीं जाता

जाने क्यों ये दिल सुधर नहीं जाता

आँखों में आंसूं अच्छे नहीं लगता

तुमसे लड़कर मैं अपने भी घर नहीं जाता


तुम्हें आसमानों में क्या दिखा था

उस एक शख्स में मुझे खुदा दिखा था

जला दी मैंने घर की तमाम चीज़ें

उस कागज़ के सिवा जिसपर माँ लिखा था


तेरे गुनाह एक तरफ मेरी गलती एक तरफ

तेरे सताए आशिक़ों की बस्ती एक तरफ

सब पागल हो गए मेरा हाल देखकर

मेरे आंसू एक तरफ मेरी हसी एक तरफ


तुझे नहीं तो हाल-ए-दिल किसे सुनाए

हो इजाज़त तो तेरे करीब आए

बहुत बड़ी है दुनिया बता कहाँ जाए

तू कहे तो तेरे नाम पे मर जाए


क्यों तुम्हें अब मुझसे मोहब्बत नहीं है

क्या तुम्हें अब मेरी ज़रुरत नहीं है

धोखे ही थे शायद वादे तेरे

मुझे भी अब तेरी चाहत नहीं है


एक आखरी ख्वाहिश है मेरी

तू सेहरा सजा के आना

जब आए मेरी क़बर पे

तू फेरा लगा के जाना

 Dard Shayari in Hindi Boy 

रुकना ना अब कहीं झुकना ना अब कहीं

ऐ दिल ये ज़माना पहले सा है नहीं

मतलब की बातें हैं मतलब से मतलब है

जैसा ये दिखता है वैसा ये है नहीं


तेरा होकर भी मैं तनहा ही रहा

मुझे तन्हाइयों की आदत हो गयी

सोच तेरे नाम पर मिट जाने वाले को

क्यों तेरे ही नाम से नफरत हो गयी


अब तेरे मेरे दरमियां है क्या

जो बचा है ये दूरियां है क्या

एक जवाब आज कल हर ज़ुबान पर है

सुन तेरी भी कुछ मजबूरियां है क्या


जो तेरे साथ रहे तो मेरे खिलाफ रहे

फिर मेरे साथ रहे तो तेरे खिलाफ रहे

ऐसे लोगों का हिसाब ख़ुदा अलग से करेगा


कभी रो के मुस्कुराए कभी मुस्कुरा के रोए

जब भी तेरी याद आई तुझे भुला के रोए

एक तेरा ही तो नाम था जिसे हज़ार बार लिखा

जितना लिख के खुश हुए उस से ज़यादा मिटा के रोए.


पुरानी किताबों की तरह धूल से भर गयी ज़िन्दगी

सुधारी नहीं जा रही भूल से भर गयी ज़िन्दगी


नहीं चाहिए मेरे चेहरे पर हसी

जब तक तू गैर की बाहों में है

आएगी तुझपर भी धुप वक़्त की

अभी तू मीठी छाओं में है


उन लोगों का क्या हुआ होगा

जिनको मेरी तरह गम ने मारा होगा

किनारे पर खड़े लोग क्या जाने

डूबने वाले ने किस किस को पुकारा होगा


वो वफ़ादार नहीं हर एक पर मरते हैं

पर बातें वफाओं की दिन रात करते हैं

तूने दिल तो दिया हर एक के सीने में खुदा

पर इस जहान में बाजार सिर्फ जिस्मों के चलते हैं


आधा ख्वाब आधा इश्क़ आधी सी है बंदगी

मेरे हो पर मेरे नह कैसी है ये जिंदगी


ना मेरा दिल बुरा था ना उसमे कोई बुराई थी

बस नसीब का खेल है क्योंकि किस्मत में जुदाई थी


अदाएं कातिल होती हैं आँखें नशीली होती हैं

मोहब्बत में अक्सर होंठ सूखे होते हैं और आँखे गीली होती हैं


बड़े दिल से बद्दुआ है मेरी

तुझे भी मोहब्बत कभी नसीब ना हो

तेरे भी चेहरे का नूर जाएगा

तेरी भी आँखों में पानी आएगा

Dard bhari shayari in hindi text

तुझे भी खुद से नफरत होने लगेगी अंधेरों की तुझे भी आदत होने लगेगी

तब तुझे पता लगेगा आखिर इश्क़ है क्या, इश्क़ है क्या


मेरे हाल बेज़ुबान है ये आंसू मेरी पहचान हैं

मेरे हिस्से में बस पत्थर हैं दिल फूलों से अनजान है


एक दिन हम भी कफन ओढ़ जायेंगे

सब रिश्ते इस जमीन के तोड़ जायेंगे

जितना जी चाहे सता लो मुझको

एक दिन रोता हुआ सबको छोड़ जायेंगे


हसता हुआ चेहरा सिर्फ दिखावा है आँखों की बेबसी देखी है

साँसों का सिलसिला थकने लगा हैं दिल वी वीरानगी किसने देखी है


अपना बनाकर फिर कुछ दिन में बेगाना बना दिया

भर गया दिल हमसे तो मजबूरी का बहाना बना दिया।


इस तरह मिली वो मुझे सालों के बाद

जैसे हक़ीक़त मिली हो ख्यालों के बाद

मैं पूछता रहा उस से ख़तायें अपनी

वो बहुत रोई मेरे सवालों के बाद


हाथों को तेरे हाथों की आदत हो गयी है

साँसों को तेरी गर्मी से राहत हो गयी है

तुझसे दूरी का हर पल एक साल सा लगता है

तू जल्दी मुझसे आ मिले मुनाजत हो गयी है


टूट जायेगी तुम्हारी जिद की आदत भी उस दिन

जब पता चलेगा की याद करने वाला अब याद बन गया


ना आंसूओं से छलकते हैं

ना काग़ज़ पर उतरते हैं

दर्द कुछ होते हैं ऐसे जो बस

भीतर ही भीतर पलते है


यहाँ महंगे है दिल के खिलौने भी मुरशद

दिलों का जोड़ा मुझे कहीं आबाद नहीं मिलता

नहीं मिलता वो जिसकी तलाश है मुझे

सच्ची मोहब्बत का तोहफा सब को नहीं मिलता


नहीं कोई साथ मेरे बिखरे जज़्बात मेरे

कैसे समझाऊं मैं क्या हैं हालात मेरे


तुझे अपने इतने करीब रखूँगा मैं

के तू हिज्र के नाम से भी डरेगी

तुझे एक पल भी अकेला छोडूं ना कभी

तेरी मेरी चिता भी साथ जलेगी

 Dard Shayari in Hindi For Girlfriend

अगर खुदा ने पूछा तो कह देंगे, हुई थी

मोहब्बत मगर जिससे हुई

हम उसके काबिल न थे


तुम पर भी यकीन है और मौत पर भी एतबार है

देखते हैं पहले कौन मिलता है हमें दोनों का इंतजार है


मैं वक़्त से लड़ सकता हूँ

पर खुद से लड़ नहीं सकता

मैं खुद में कितना तन्हां हूँ

मैं सबसे कह नहीं सकता


जहर की भी जरुरत नहीं पड़ी

हमें मारने के लि तुम्हारे ऐसे

बर्ताव ने ही हमें मार डाला


नज़र भर के तुमको देखा ही नहीं

जितना भी देखा कम ही लगा

खुदा से मैंने माँगा है तुम्हें

और जितना भी माँगा कम ही लगा


जिसे सबसे ज़्यादा तेरी क़द्र हो जिसके लिए तेरा चेहरा अब्र हो

एक ऐसा लड़का हूँ मैं एक ऐसा लड़का हूँ मैं


मुझे बहुत प्यारी है तुम्हारी दी हुई हर एक निशानी

अब चाहे वो दिल का दर्द हो या आँखों का पानी


दुआ करना दम भी उसी दिन निकले,

जिस दिन तेरे दिल से हम निकले


अगर वो खुश है देखकर आंसू मेरी आंखों में

तो रब की कसम हम मुस्कुराना छोड़ देंगे

तड़पते रहेंगे उसे देखने के लिए

लेकिन उसकी तरफ नज़रें उठाना छोड़ देंगे


सुना भी कुछ नही कहा भी कुछ नही

पर ऐसे बिखरे हैं जिंदगी की कश्मकश में

कि टूटा भी कुछ नही और बचा भी कुछ नही


भर आई मेरी आंखें जब उसका नाम आया

इश्क नाकाम सही पर बहुत काम आया

हमने मोहब्बत में ऐसी भी गुजारी रातें

जब तक आसूं ना बहे दिल को ना आराम आया

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तुम ने चाहा ही नही, हालात बदल सकते थे

तेरे आसूं मेरी आंखों से निकल सकते थे

तुम तो ठहरे रहे झील के पानी की तरह

दरिया बनते तो बहुत दूर निकल सकते थे


जब आख़िरी मुलाकात हो तो हंस

कर देख लेना मुझे, क्या पता

अगली बार तुम हमें कफन में

देखो और मुस्कुरा भी ना पाओ

दिल टूट सबसे दर्द भरी शायरी

ज़िंदगी रही तो याद सिर्फ तुम्हे ही करते रहेंगे

भूल गए तो समझ जाना अब हम ज़िंदा नही रहे


हम हंसते तो हैं लेकिन सिर्फ दूसरों को हंसाने के लिए

वरना ज़ख्म तो इतने हैं कि ठीक से रोया भी नही जाता

 

मैने कब दर्द के जख्मों से शिकायत की है

हां मेरा जुर्म है के मैने मोहब्बत की है

आज फिर देखा है उसे महफिल में पत्थर बनकर

मैने आंखों से नही दिल से बगावत की है


उसको भूल जाने की गलती भी नही कर सकता

टूट कर ही तो सिर्फ उसी से मोहब्बत की है


मेरी कोई खता तो साबित कर

अगर बुरा हूं तो बुरा साबित कर

तेरा प्यार पाने के लिए क्या कुछ नहीं किया

मैं बेवफा ही सही तू अपनी वफा तो साबित कर


हर कोई मुझे जिंदगी जीने का तरीका बताता है

उन्हें कैसे समझाऊं की कुछ ख़्वाब

अधूरे हैं वरना जीना मुझे भी आता है


तू मेरे बिना ही खुश है तो शिकायत कैसी

अब मैं तुझे खुश भी ना देखूं तो मोहब्बत कैसी


आखिर कह ही डाला उसने एक दिन

इस कदर टूटे हो बिखर क्यों नही जाते

कब तक जिओगे ये दर्द भरी जिंदगी

किसी रात खामोशी से मर क्यों नही जाते.

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तुम मेरी लाश पर रोने मत आना

मुझसे बहुत प्यार था ये जताने मत आना

दर्द दो मुझे जब तक दुनिया में हूं

जब सो जाऊं फिर जगाने मत आना


किसी को इश्क़ की अच्छाई ने मार डाला

किसी को इश्क़ की गहराई ने मार डाला

करके इश्क़ कोई ना बच सका

जो बच गया उसे तन्हाई ने मार डाला


प्यार क्या होता है हम नही जानते

जिंदगी को अपना हम नही मानत

गम इतने मिले हैं की अब एहसास नही होता

प्यार करे कोई तो विश्वास नही होता.


तन्हाई मेरे दिल में समाती चली गई

किस्मत भी अपना खेल दिखाती चली गई

महकती फिज़ा की खुशबू में जो देखा प्यार को

बस याद उनकी आई और रुलाती चली गई

 Dard Shayari in Hindi Text 

रो पड़ा वो फकीर भी मेरे हाथों की लकीरें देखकर

बोला तुझे मौत नही किसी की याद मारेगी


ऐसे गये दिल की ज़मी बंजर कर के

आज तक कोई फूल ना खिल सका

बस्ती बस्ती लोग मिले हमराह मगर

फिर कभी तेरा पता ना मिल सका..


ख़ामोश फ़ज़ा थी कहीं साया भी नहीं था

इस शहर में हमसा कोई तनहा भी नहीं था

किस जुर्म पे छीनी गयी मुझसे मेरी हँसी

मैंने किसी का दिल तो दुखाया भी नहीं था

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


लगी है चोट दिल पे दिखा नही सकते

भुलाना भी चाहे तो भुला नही सकते

मोहब्बत का अंजाम यही होता है

जिसके लिए तरसते हैं उसे पा नही सकते


दिल का दर्द जानना है तो किसी पे ऐतबार करके देखो

अपने दिल के आईने में किसी को उतार के देखो

रोयेंगे वो और आसूं तुम्हारे निकलेंगे

ये एहसास जानना है तो दिल टूटने का ज़ख्म खाकर देखो


सोचा था हर दर्द बताएंगे तुमसे  मिलकर

तुमने तो इतना भी नही पूछा कि तुम खामोश क्यों हो…


ना वो सपना देखो जो टूट जाए

ना वो हाथ थामो जो छूट जाए

मत आने दो किसी को करीब इतना कि

उसके दूर जाने से इंसान खुद से रूठ जाए


इन आंखों में आसूं आए ना होते

वो जो मुड़ कर मुस्कुराए ना होते

उनके जाने के बाद ये गम होता है

काश वो जिंदगी में आए ना होते

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


प्यार सभी को जीना सिखा देता है

वफा के नाम पर मरना सिखा देता 

प्यार नहीं किया तो कर के देख 

जालिम हर दर्द सहना सिखा देता है


कुछ चीजें हम पुरानी छोड़ आए हैं

आते आते उसकी आंखों में पानी छोड़ आए हैं

ये ऐसा दर्द है जो बयां हो नही सकता

दिल तो साथ ले आए धड़कन छोड़ आए हैं.


हम तो समझे थे की ज़ख्म हैं भर जायेगा

क्या खबर थी कि रोग दिल में उतर जायेगा

ठीक लिखा था मेरे हाथ की लकीरों में

तू प्यार करेगा तो बिखर जायेगा


ना कोई मंजिल है ना कोई किनारा है

ना हम किसी के ना कोई हमारा है.


मैंने कभी किसी को आजमाया नही

जितना प्यार दिया उतना कभी पाया नही

किसी को हमारी भी कमी महसूस हो

शायद खुदा ने मुझे ऐसा बनाया नही

 Dard Bhari Shayari in Hindi  

लड़कों की शायरी दर्द भरी

जीते थे हम भी कभी शान से

महक उठी थी जिंदगी किसी के नाम से

मगर फिर गुज़रे उस मुकाम से

कि नफ़रत सी हो गई मोहब्बत के नाम से


इश्क़ की नासमझी में

हम अपना सबकुछ गवां बैठे

उन्हें खिलौने की जरूरत थ

और हम अपना दिल थमा बैठे


मेरे गीत सुने दुनिया वालों ने

मगर मेरा दर्द कोई ना जान सका

एक तेरा सहारा था दिल को

तू भी ना मुझे पहचान सका


एक नया दर्द मेरे दिल में जगा कर चला गया

कल वो फिर मेरे शहर में आकर चला गया

जिसे ढूंढते रहे हम लोगों की भीड़ में

मुझसे वो अपने आप को छुपा कर चला गया


अपनी तो जिंदगी की अजीब कहानी है

जिस चीज को चाहा वो ही बेगानी है

हंसते हैं दुनिया को हंसाने के लिए वरना

दुनिया डूब जाए इन आंखों में इतना पानी है

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तरसते थे जो हमसे मिलने को कभी

ना जाने क्यों आज मेरे साये से भी वो कतराते हैं

हम भी वही हैं, दिल भी वही है

ना जाने क्यों लोग बदल जाते हैं..


ग़म के दरिया से मिलकर बना है यह सागर

तुम क्यों इसमें समाने की कोशिश करते हो

कुछ नहीं है और इस जीवन में दर्द के सिवा

तुम क्यों ज़िंदगी में आने की कोशिश करते हो


छोड़ते भी नही हाथ मेरा और थामते भी नही ये कैसी मोहब्बत है 

उनकी गैर भी नही कहते हमे और अपना मानते भी नही


कभी कभी करते हैं जिंदगी की तमन्ना

कभी मौत का इंतजार करते हैं

वो हमसे क्यों दूर हैं पता नही, जिन्हें हम

जिंदगी से भी ज्यादा प्यार करते हैं


कब्र में दफनाते ही सारे रिश्ते टूट जाते हैं

चंद दिनों में अपने अपनो को भूल जाते हैं

कोई नही रोता उम्र भर के लिए

वक्त के साथ साथ आसूं भी सूख जाते हैं


प्यार किया नादान थे हम

गलती हुई क्योंकि इंसान थे हम

आज जिन्हें नज़रें मिलाने में तकलीफ होती है

कभी उसकी जान थे हम 

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


हम बहुत हंसते थे

जिंदगी ने आज रोना सीखा दिया

सबके साथ बैठना अच्छा लगता था

आज अकेले रहना सीखा दिया

बात करने का शौक तो बहुत था, पर

जिंदगी ने आज चुप रहना सीखा 

 Dard Shayari in Hindi Status 

दर्द से खेलना सीख लिया हमने

बेवफाई के साथ जीना सीख लिया हमने

ये दिल किस कदर टूटा है हम बता नही पाएंगे

अब तो मरने से पहले कफन ओढ़ना सीख लिया है हमने


मेरी मोहब्बत बेजुबां होती रही

दिल की धड़कने अपना वजूद खोती रहीं

कोई नही आया मेरे दुख में करीब

एक बारिश थी जो मेरे साथ रोती रही


प्यार के उजाले में गम का अंधेरा आता क्यों है

जिसको हम चाहे वही रुलाता क्यों है

अगर वह मेरा नसीब नही

तो खुदा ऐसे लोगों से मिलाता क्यों है


हौंसला मत हार

गिरकर ऐ मुसाफिर.

अगर दर्द यहाँ मिलता है तो

दवा भी यहीं मिलेगी.


दर्द में हम तो अपने आसूं हंसते हंसते पी लेते हैं

जहर जुदाई का सीने में लेकर हंसते हंसते जी लेते हैं


आँखों में रहा दिल में उतर कर नहीं देखा

कश्ती के मुसाफिर ने समंदर नहीं देखा

पत्थर मुझे कहता है मेरा चाहने वाला

मैं मोम हूँ उसने मुझे छू कर नहीं देखा


सुलग गए मेरे अरमान भी

जूनून-ए-मोहब्बत में कभी किये थे

भर गए हैं अब वो ज़ख्म

जो तूने कभी दिए थे.

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


खुद से जुदा करके गैरों का होने नही देता

तू मेरे नसीब में होती तो तुझे खोने नही देता

जानता हूं बिछड़कर तू आज भी रोती होगी

काश मैं तेरे साथ होता तो तुझे रोने ना देता.


ज़रा सी ज़िंदगी है, अरमान बहुत हैं 

हमदर्द नहीं कोई, इंसान बहुत हैं 

दिल के दर्द सुनाएं तो किसको 

जो दिल के करीब है, वो अनजान बहुत हैं 


इतना गुरूर जो था, मुझे अपने प्यार पर

वो टूटना भी जरूरी था

कुछ ज्यादा ही प्यार से जो थामा तेरा हाथ

वो छूटना भी जरूरी था


साथ मांगा मिला नही

खुशी मांगी मिली नही

प्यार मांगा किस्मत में था नही

और दर्द बिन मांगे ही मिल गया


रात की गहराई आँखों में उतर आई

कुछ ख्वाब थे और कुछ मेरी तन्हाई

ये जो पलकों से बह रहे हैं हल्के हल्के

कुछ तो मजबूरी थी कुछ तेरी बेवफाई.

जिंदगी की दर्द भरी शायरी

दिल में है जो दर्द वो दर्द किसे बताएं

हंसते हुए ये जख्म किसे दिखाएं

कहती है ये दुनिया हमे खुश नसीब

मगर इस नसीब की दास्तां किसे बताएं.

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


रह गए तेरे वादों के दरमियाँ और ज़िन्दगी यूँ ही गुजरती रही

जश्न-ए-ख़ामोशी में हर रात सुलगती रही


कभी कभी ये क्यों लगता है

कि तुम मेरी पूरी ज़िन्दगी हो

और मैं तुम्हारा लम्हा भी नहीं


संगदिलों की दुनिया है ये

यहां सुनता नही फरियाद कोई

यहां हंसते हैं लोग तभी

जब होता है बरबाद कोई


तमन्ना जब किसी की नाकाम होती है

जिंदगी उसकी एक उदास शाम होती है

दिल के साथ दौलत ना हो जिसके पास

मोहब्बत उस गरीब की नीलाम होती है


गहरी थी रात लेकिन हम खोए नही

दर्द बहुत था दिल में मगर हम रोए नही

कोई नही हमारा जो पूछे हमसे

जाग रहे हो किसी के लिए या किसी के लिए सोए नही


तेरे गम को अपनी रूह में उतार लूँ 

ज़िन्दगी तेरी चाहत में सवार लूँ

मुलाकात हो तुझ से कुछ इस तरह 

तमाम उम्र बस एक मुलाकात में गुजार लूँ 

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


कितना दर्द है दिल में दिखाया नही जाता

गंभीर है किस्सा सुनाया नही जाता

एक बार जी भर के देख लो इस चेहरे को

क्योंकि बार-बार कफन उठाया नही जाता


वक़्त गुजर गया लम्हे गुजर गए

हम चुपचाप ये ख़ामोशी सह गए

तुम कहाँ से कहाँ और हम वहीं रह गए


जितना तुमने समझा उतनी दूर नहीं थे हम 

टूट गए थे लेकिन चकनाचूर नहीं थे हम 

क्या हो जाता तुमने मुड़कर देख लिया होता 

शायद तुमको दिल से ही मंजूर नहीं थे हम 


जिनकी आंखे आसूं से नम नही

क्या समझते हो उसे कोई गम नही

तुम तड़प कर रो दिए तो क्या हुआ

गम छुपाकर हँसने वाले भी कम 


कभी दर्द है तो दवा नहीं

जो दवा मिली तो शिफा नहीं

वो ज़ुल्म करते हैं इस तरह

जैसे मेरा कोई खुदा नहीं


बिछड़ के तुमसे ज़िन्दगी सज़ा लगती है

ये सांस भी जैसे मुझसे ख़फ़ा लगती है

अगर उम्मीद-ए-वफ़ा करूँ तो किससे करूँ

मुझको तो मेरी ज़िंदगी भी बेवफा लगती है

 जिंदगी की दर्द भरी शायरी  हिंदी में

हर भूल तेरी माफ की हर खता को तेरी भुला दिया

गम है कि, मेरे प्यार का तूने बेवफ़ा बनके सिला दिया


बेवफा तेरा मासुम चेहरा भुल जाने के काबिल नही

है मगर तु बहुत खुबसुरत पर दिल लगाने के काबिल नही


उसके इंतजार के मारे हैं हम बस उसकी यादों के सहारे हैं हम

दुनिया जीत के कहना क्या है अब.जिसे दुनिया से जीतना था आज उसी से हारे हैं हम.


जाने क्या मुझसे जमाना चाहता है

मेरा दिल तोड़कर मुझे ही हंसाना चाहता है

जाने क्या बात झलकती है मेरे इस चेहरे से

हर शख्स मुझे आजमाना चाहता है.

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


हमारी क़ब्र पर कभी चराग़ जला देना

ज़िन्दगी में अंधेरा भी तुम्हारी ही रहमत है

हर अश्क़ बयां करता है बेरुखी तेरी

हर ज़ख्म-ए-दिल, तेरे इश्क़ की अलामत है


काश यह जालिम जुदाई न होती

ये खुदा तूने यह चीज़ बनाई न होती

न हम उनसे मिलते न प्यार होता

जिंदगी जो अपनी थी वो पराई न होती


हर भूल तेरी माफ़ की हर खता को तेरी भुला दिया

गम है कि, मेरे प्यार का.तूने बेवफा बनके सिला दिया


उड़ रहा था मेरा दिल भी परिंदों की तरह

तीर जब लग गई तो कोई भी मरहम न हुआ

देख लेना था मुझे भी हर सितम की अदा

ऐ सनम तेरे जैसा मेरा कोई दुश्मन न हुआ


प्यार किया बदनाम हो गए चर्चे हमारे सरेआम हो गए

जालिम ने दिल उस वक्त तोड़ा जब हम उसके गुलाम हो गए


बहुत जुदा है औरों से मेरे दर्द की कहानी

ज़ख्म का कोई निशां नही और दर्द की कोई इंतहा नही.


भर गए हैं अब वो ज़ख्म जो तूने कभी दिए थे

लेकिन हैं याद अभी भी वो वादे जो तूने कभी किये थे

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तुझे चिठ्ठीयां नहीं करवटो की नकल भेजेंगे

अब चादर के नीचे कार्बन लगाने लगे हैँ हम

एक ख्वाहिश है मेरी पूरी हो इबादत के बगैर

वो आकर लिपटे मुझसे मेरी इजाजत के बगैर.


तकदीर के आईने में मेरी तस्वीर खो गई

आज हमेशा के लिए मेरी रूह सो गई

मोहब्बत करके क्या पाया मैंने

वो कल मेरी थी आज किसी और की हो गई 

प्यार में दर्द भरी शायरी 

ज़िंदगी रही तो याद सिर्फ तुम्हे ही करते रहेंगे

भूल गए तो समझ जाना अब हम ज़िंदा नही रहे


पास आकर सभी दूर चले जाते हैं 

अकेले थे हम अकेले ही रह जाते हैं

इस दिल का दर्द दिखाएँ किसे मल्हम 

लगाने वाले ही जखम दे जाते हैं


प्यार सभी को जीना सिखा देता है

वफा के नाम पे मरना सिखा देता है

प्यार नहीं किया तो करके देख लो यार

जालिम हर दर्द सहना सिखा देता है 


पता है तकलीफ क्या है किसी को चाहना

फिर उसे खो देना और खामूश हो जाना


तेरी आंखें बता देती हैं बेवफाई के सारे राज

अब छुपाए नही छुपते दिल के झूठे जज्बात 


बहुत उदास है कोई तेरे जाने से

हो सके तो लौट आ किसी भने से

तू लाख खफा सही , मगर एक बार तो देख

कोई टूट गया है तेरे रूठ जाने से


कफ़न न डालो मेरे चेहरे पर

मुझे आदत है गम में मुस्कुराने की

रूक जाओ आज की रात न दफनाओ

मेरी मौत से बनी है मुहूर्त उसके आने की

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


गमो नै बाट लिया हे मूझे यू आपस मे

कि जेसै मै कोई लूटा हूआ खजाना था

वो आगै चलै ही नही कदम बिझा कर बैठ गऐ

तूम्हे तो साथ मेरा दूर तक निभाना था


याद कितनी खूबसूरत होती है ना

ना लड़ती है ना झगड़ती है 

खामोशी से बस किसी का नाम लेकर

दिल में उतर जाया करती है 


दिल की ख्वाहिश को नाम क्या दूँ 

प्यार का उसे पैगाम क्या दूँ 

इस दिल में दर्द नहीं यादें है उसकी 

अब यादें ही मुझे दर्द दे तो उसे इलज़ाम क्या दूँ 


मेरे आंसुओ के दाम तुम चूका नहीं पाओगे मोहब्बत    

न ले सके तो दर्द क्या खरीद पाओगे


हर बात में आंसू बहाया नहीं करते

दिल की बात हर किसी को बताया नहीं करते

लोग मुट्ठी में नमक लेके घूमते है

दिल के जख्म हर किसी को दिखाया नहीं करते 

 रिश्तों की दर्द भरी शायरी  हिंदी में

फूलों मे अक्सर कांटे होते हैं

प्यार करने वाले अक्सर रोते हैं

तड़पते है िदवाने तमाम उमर

और तड़पाने वाले चैन से सोते हैं

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


जाने दुनियाँ मे ऐसा क्यू होता है

जो सब को खुशी देता वही रोता है

उमर भर जो साथ ना दे सके वही

ज़िंदगी का पहला प्यार क्यू होता है 


हक़ीक़त जान लो जुदा होने से पहले

मेरी सुन लो अपनी सुनाने से पहले

ये सोच लेना भुलाने से पहले

बहुत रोयी हैं ये आँखें मुस्कुराने से पहले


मैंने आजाद कर दिया हर वो रिश्ता हर वो इंसान

जो सिर्फ अपने मतलब के लिए मेरे साथ था

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तुम्हारे प्यार में हम बैठें हैं चोट खाए

जिसका हिसाब न हो सके उतने दर्द पाये

फिर भी तेरे प्यार की कसम खाके कहता हूँ

हमारे लब पर तुम्हारे लिये सिर्फ दुआ आये


टूटे हुए दिल ने भी उसके लिए दुआ मांगी

मेरी साँसों ने हर पल उसकी ख़ुशी मांगी

न जाने कैसी दिल्लगी थी उस बेवफा से

के मैंने आखिरी ख्वाहिश में भी उसकी वफ़ा मांगी


दिल का दर्द ब्यान करना अगर

इतना ही आसान होता

तो लोग गीतों का सहारा ना लेते 


तुझे चिठ्ठीयां नहीं करवटो की नकल भेजेंगे

अब चादर के नीचे कार्बन लगाने लगे हैँ हम

एक ख्वाहिश है मेरी पूरी हो इबादत के बगैर

वो आकर लिपटे मुझसे मेरी इजाजत के बगैर

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


वो बिछड़ के हमसे ये दूरियां कर गई

न जाने क्यों मोहब्बत अधूरी कर गई

अब हमें तन्हाइयां चुभती है तो क्या हुआ

कम से कम उसकी सारी तमन्नाएं तो पूरी हो गई 


आंसू भी आते है और दर्द भी छुपाना पड़ता है

ये ज़िन्दगी है साहब यहाँ जबरदस्ती भी मुस्कराना पड़ता है


जितना तुमने समझा उतनी दूर नहीं थे हम

टूट गए थे लेकिन चकनाचूर नहीं थे हम

क्या हो जाता तुमने मुड़कर देख लिया होता

शायद तुमको दिल से ही मंजूर नहीं थे हम


तेरे गम को अपनी रूह में उतार लूँ

ज़िन्दगी तेरी चाहत में सवार लूँ

मुलाकात हो तुझ से कुछ इस तरह

तमाम उम्र बस एक मुलाकात में गुजार लूँ


हर पल यही सोचता रहा

के कहा कमी रह गयी थी मेरी चाहत में

उसने इतनी शिदत्त से मेरा दिल तोड़ा

के आज तक नहीं संभल पाए.


अदाएं कातिल होती हैं 

आँखें नशीली होती हैं 

मोहब्बत में अक्सर होंठ सूखे होते हैं 

और आँखे गीली होती हैं 


बदला नहीं हूँ मैं मेरी भी कुछ कहानी है

बुरा बन गया अब मैं सब अपनों की मेहरबानी है

 Dard Bhari Shayari in Hindi  

रूला देने वाली सबसे दर्द भरी शायरी

सफेद लिबास उसे बहुत पसंद था मगर

आज जो हम कफन में लिपटे हैं

तो वो रोता क्यों है 


आँसू गिरने की आहट नही होती

दिल के टूटने की आवाज नहीं होती

गर होता उन्हें एहसास दर्द का

तो दर्द देने की उन्हें आदत नहीं होती


हँसते हुए ज़ख्मों को भुलाने लगे हैं हम

हर दर्द के निशान मिटाने लगे हैं हम

अब और कोई ज़ुल्म सताएगा क्या भला

ज़ुल्मों सितम को अब तो सताने लगे हैं हम


महफ़िल में गले मिलके वो धीरे से कह गए

ये दुनिया की रस्म है इसे मोहब्बत न समझलेना 


रोने की सजा न रुलाने की सजा है

ये दर्द मोहब्बत को निभाने की सज़ा है

हँसते हैं तो आँखों से निकल आते हैं आँसू 

ये उस शख्स से दिल लगाने की सज़ा है 


ज़रा सी ज़िंदगी है, अरमान बहुत हैं

हमदर्द नहीं कोई, इंसान बहुत हैं

दिल के दर्द सुनाएं तो किसको

जो दिल के करीब है, वो अनजान बहुत हैं

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


तुझे पाने की तमन्ना दिल से निकाल दी मैंने

मगर आँखों को तेरे इंतज़ार की आदत सी बन गयी है 

 

मत पूछा करो रात भर जागने की वजह हमसे

मोहब्बत मैं कुछ सवालों के जवाब नहीं होते

 

हर जख्म की आगोश मैं दर्द तुम्हारा है

हर दर्द मैं तस्कीन का एहसास भी तुम ही हो


हाल तो पूछती नहीं दुनिया जिंदा लोगों का

चले आते हैं लोग जनाजे पर बारात की तरह 

 किसी की याद में दर्द भरी शायरी  हिंदी में

मरता नहीं कोई किसी के बगैर ये हकीकत है ज़िन्दगी

लेकिन सिर्फ सांस लेने को जीना तो नहीं कहते


जो कभी डरा ही नहीं मुझे खोने से

वो क्या अफसोस करता होगा मेरे ना होने से 


लोग कहते है हम मुस्कुराते बहुत है

और हम थक गए दर्द छुपाते छुपाते


तुमसे बात किये बिना ज़िन्दगी भर रह सकते है

लेकिन तुम्हे याद किये बिना एक पल भी नही


दुआ करना दम भी उसी तरह निकले

जिस तरह तेरे दिल से हम निकले


मेरे ज़झक्मों का हौसला तो देख

तो हस दिया तो मैं भी तेरे साथ हास् दिया


रह रह के मुझे इतना रुलाते क्यूँ हो

याद कर नही सकते तो याद आते क्यूँ हो


दिल टूटा है संभलने मे कुछ वक़्त तो लगेगा

हर चीज इश्क़ तो नहीं की एक पल में हो जाए 


नफरत बदसूरती से नहीं बदसूरत दिल से होती है

क्योंकि धोखा तो खूबसूरत चेहरे ही देते हैं 


वो मेरा नाम न ले सिर्फ पुकारे तू सही

कुछ बहन तो मील के दोड़ के अऊ

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


मोहब्बत हाँथ में पहनी हुई चूड़ी के जैसी है

संवारती है खनकती है खनक कर टूट जाती है 

 दर्द शायरी हिंदी में दो लाइन

कभी सोचा करता था कैसे रह पाऊँगा तेरे बिना

देख तूने ये भी सिखा दिया मुझे 


तुधा सा इंतज़ार ही कर लेते

मेरे दिन बुरे थे मैं नहीं


मिलता भी नहीं तुम्हारे जैसे इस शहर में

हमको क्या मालूम था के तुम भी किसी और के हो 


बिछड़ गए हम दोनों को बिच मैं ल कर

उसे मेरा मुझे उसका खुसार मार डाले गए


गिरते हुए आंसुओं को कौन देखता है

झूठी मुश्कान के दीवाने है सब लोग


नमक को हाथ में लेकर सनम सोचते क्या हो

हजारों जख्म दिल मैं है जहाँ चाहो छिड़क दो


कौन कहता है नफरतों मैं दर्द होता है

कुछ मोहब्बत बड़ी कमाल की होती है 


नफरत करोगे तो भी आउंगा तेरे पास

देख तेरे बगैर रहने की आदत नहीं मुझे


हम नहीं करते इश्क़ से इश्क़ तो हमारा पेशा है

वो इश्क़ ही गया जिस मैं यार बेवफा है

Dard Bhari Shayari In English

Kisi ka Dil Itna Bhi Mat Dukhao Ki

Vo Khuda Ke Samane

Tumhara Naam Lekar Ro Pade


Ab Nahi Dekhta Main Use

Kyu Ab Hak Nahi Rha Mera Uspe

Shayad Wo Janti Bhi Nahi

Kisi Pagal Ki Tarah Chaha Tha Use


Jo najar se gujar jaaya karate hain

vo sitaare aksar toot jaaya karate hain

kuchh log dard ko bayaan nahin hone dete

bas chupachaap bikhar jaaya karate hain


Tere Aarzoo Mera khwab Hai

Jiska Rasta Bahut Kharaab Hai

Mere Zakhm Ka Zndaza Na laga

Dil ka Har Panna Dard ki Kitaab hai


Hum Umeedo ki Duniyan basate rahe

Vo bhi Pal Pal Hamen Aajamate Rahe

Jab Mohabbat Mein marne ka wakt aaya

hum mar gaye aur wo muskurdate rahe


Tumhaari Ada Ka Kya Javaab Doon

Apane Dost Ko Kya Upahaar Doon

Koy Achchha Sa Phool Hota To Maali Se Mangavaata

Jo Khud Gulaab Hai, Usako Kya Gulaab Doon

 Dard Bhari Shayari  


Agar Main likhon to Pori kitaab likh du

Tere diye har dard ka hisaab likh du

darta hoon kahi Tum badnaam na ho jao

Varna tere har dard ki kahaanee

mera har khwab likh doon.


Kisi Ko chahne ka koi bahana nahi hota

Dil lgane se koi diwana nahi hota.

Aashiqi sikhni hai to humse sikho

Mohabbat karne Ka mtlb sirf use pana nahi hota.


Pyar sabhi ko jeena sikha deta hai

Vafa ke naam pe marna sikha deta hai                                         

Pyar nahi kiya to karke dekh lo yaaro

Zalim har dard sehana sikha deta hai.


kitna aur dard dega bas itna bata de

Aisa kar ay khuda meri hasti mita de

yu ghut ghut kar jeene se to maut behtar hai

Main kabhi na jaagu mujhe aisi nind sula de


har zakhm kisi thokar ki meharbani hai

Meri zindagi ki bus yahi ek kahaanee hai

mita dete sanam tere har dard ko seene se

par ye dard hi to teri aakhiri nishani hai


Uski Mohabbat Ka Silsila Bhi Kya Ajeeb Silsila Tha,

Apna Bhi Nahi Banaya, Aur Kisi Ka Hone Bhi Nahi Diya


Sanam tere inkaar ki aakhir kya wajah ho sakti hai

tujhe mere pyar ka ehsaas nahi ya fir tu darti hai

agar hun main galat to mujhse izhaar Karti kyon nahi

ya tera dil patthar ka hai ya fir tu kisi aur ko chahti hai

 Dard Bhari Shayari in Hindi  


Bhula kar tujhko mai sambhal to gaya hoon

Lekin andar se abhI bhI toota hua hoon

Mera man to khush hai tere jaane ke baad

Lekin dil se abhi bhI rootha hua hoon


Dard ko na dekhiye dard se

Dard ko bhi dard hota hai

Dard ko bhi zaroorat hai pyar ki

Aakhir pyar mein dard hee toh hamdard hota hai


Teri yaad aaii to thoda udaas ho jaoonga

Zindagi se phir ek baar niraash ho jaoonga

Kabhi socha bhee na tha aisa bhee hoga

Teri khushi ke liye mai khud ko rulaoonga


bus Itani si hi kahani thi meri

Mohobbat ki mausam ki tarah tum badal gaye

Phasal ki Tarah Main barbaad ho gaya|


Dard se Hath Na Milaate to aur kya karte

Gum ke aasoo na bahaate to aur kya karte

usne mangi thee humse raushni ki dua

hum apna ghar na jalate to aur kya karte


MAA to janat ka phool hai

Pyar karna uska vasul hai

Dunia ki mohabat fhijul hai

Maa ki har dua Kabul hai

Maa ko naraz karna Insaan teri bhul hai


Dil ke dard ko dil torne wale kya jana

Pyar ki rasmo ke yeh zamane wale kya jane

Hoti hai kitni taklif kabar ke niche

Yeh upar se phool charane wale kya jane


Humne Socha Unke Pyar Mein Tadapna Chhod Denge

Unke Liye Tarasna Chhod Denge; Dil Ko Bola Tu Bhul Ja 

Use; Dil Bola Hum Dhadakna Chhod Denge

 Dard Bhari Shayari   


Dil ki khwahish ko naam kya dun

pyar ka use paigam kya dun

Is dil me dard nahi yaaden hai uski

ab yaaden hi mujhe dard de to use ilzam kya dun


Jhuki hui Palakon se unka didaar kiya

Sab kuchh bhula ke unka intazaar kiya

Vo jaan hi na payi jajbaat mere

jise duniyaan mein maine sabse jada pyaar kiya.


Aankho me aasu nhi hoto par chingari rakho

Agar Ladna chahte ho

Apno se to tarkeebe bahut saari rakho


Un Logo Ka Kya Hua Hoga

Jinko Meri Tarha Gum Ne Mara Hoga

Kinare Par Khade Log Kya Jane

Dubne Wale Ne Kin-Kin Ko Pukara Hoga


Jab kaha tha tumne hamaare sapne sach honge

Tab yakeen tha tum par rab se bhee jyaada

Lekin ab vishvaas choor choor ho gaya hai mera

Shaayad Tumne adhoora chhod diya apaa vaada


Dard ko Bhi Dard Hone Laga

Dard Khud Hi Mere Ghaao Dhone Laga

Dard Ke Liye Main Na Roya

Lekin Dard Mujhe Chhu kar Khud Rone Laga.


Humne jo ki thi mohabbat, aaj bhi hai 

Teri zulfo ke saaye ki chahat aaj bhi hai 

Raat kat ti hai aaj bhi khayalo me tere 

Deewano si woh meri halat aaj bhi hai 

Kisi aur ki tasaweer ko uthati nahin Beimaan 

aankho me thodi si sharafat aaj bhi hai Chah 

ke ek baar chahe fir chod dena tu Dil tod tujhe jaane ki ijaazat


Ye sach hai ki hum mohabbat se darte hain

Kyun Ki Ye Pyar Dil Ko Bahut Tadpata Hai

Aankh Mein Aansoo To Hum Chhupa Sakte Hain

Dard-e-Dil Duniya Ko Pata Chal Jata Hai


Jab chalna nahi aata tha

Tab girne nahi dete the log

Jab se sabhala hai kud ko

Kadam kadam par girane ki Sochte hai log


Tu Khush Rahe To Main Muskuraunga

Kahin Bhi Ho Tu Tujhe Na Bhula Paunga

Mere Gham Ka Tu Dard Na Lena; Ki Iss 

Dard Mein Bhi Main Sukun Paunga

 Dard Bhari Shayari 


Cigarette pina shok hai mera adat nahi

Ye jazbat jagati hain tabhi peeta hoon

Aadhi raat k waqt main pagal toh nahi

Teri yaad satati hain tabhi peeta hoon

Es cigarette mein fazeelat toh koi nah

Ye fikar mitati hain tabhi peeta hoon

Main janta hu muje kuch nahi milna esse

Ye meri umar ghatati h tabhi peeta hoon


Samjha Na Koi Dil Ki Baat Ko

Dard Duniya Ne Bina Soche Hi De Diya

Jo Sah Gaye Har Dard Ko Hum Chupke Se

To Humko Hi Patthar-Dil Kah Diya


Zindagi se hume koi shikayat nahi

Jee toh rahe h par khusi se nahi

Har shakhs ne dukh b bahut diye

Par hum kisi se naraj bhi nahi

Contusions

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